पिंजरे में कैद हुआ दून का आदमखोर

दो बच्चों की ले चुका था जान

देहरादून। आखिरकार वन विभाग की टीम ने कड़ी मशक्कत के बाद किमाड़ी के आदमखोर गुलदार को पिंजरे में कैद कर लिया है। जिसके बाद दूनवासियों ने राहत की सांस ली। पकड़े गये गुलदार द्वारा अब तक दो बच्चों को निवाला बनाया गया था जबकि एक बच्चा गम्भीर रूप से घायल हुआ था।
विगत कुछ माह के दौरान राजधानी देहरादून में आदमखोर गुलदार द्वारा अब तक दो बच्चों को मौत के घाट उतारा जा चुका है। जबकि एक बच्चा गुलदार के हमलें में बुरी तरह से घायल हुआ है। जिसके बाद से दूनवासियों में दहशत का माहौल था। गुलदार के पिंजरे में कैद होने के बाद लोगों ने राहत की सांस ली है।
बता दें कि बीती 25 फरवरी को कैंट कोतवाली क्षेत्रांर्तगत किमाड़ी मार्ग पर गल्जवाड़ी गांव से करीब दो किलोमीटर नीचे वन क्षेत्र में वन गुर्जर बस्ती में गुलदार ने शौच के लिए गए 10 साल के बच्चे को अपना निवाला बनाया था। इसके अलावा राजपुर थाना क्षेत्र के सिंगली गांव में घर के आंगन में खेल रहे साढे तीन साल के बच्चे को गुलदार उठाकर ले गया था। गुलदार के जानलेवा हमले में बच्चे की मौत हो गई थी। बच्चे के शव को घर से कुछ दूरी से बरामद किया गया था। घटना के बाद से ग्रामीणों के साथ-साथ वन विभाग में भी हड़कंप मचा हुआ था। मामले का संज्ञान लेते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी सख्त रवैया अपनाते हुए वन विभाग के अधिकारियों को जल्द से जल्द गुलदार को पकड़ने के दिशा-निर्देश दिए थे। जिसे आज सुबह वन विभाग की टीमों द्वारा पिजरें में कैद कर लिया गया है।
प्रभागीय वन अधिकारी वैभव कुमार ने बताया कि गुलदार को पकड़ने के लिए तीन टीमों का गठन किया गया था जो अलग-अलग क्षेत्र में सर्च ऑपरेशन चला रहे थे और गुरूवार सुबह किमाड़ी ग्राम क्षेत्रांतर्गत आतंक का पर्याय बन चुके गुलदार को पकड़ लिया गया है। उन्होंने इसके लिए वन विभाग की टीम की सराहना की, जिन्होंने रात दिन गुलदार को पकड़ने के लिए कार्य किया और अपनी जान की परवाह न करते हुए आदमखोर गुलदार को पकड़ा है।

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